जिस पर यूनियन का विरोध है। कमेटी के चेयरमैन ने इसको लेकर कई कंपनियों के सीएमडी, डीएफ, निदेशक साथ राय विचार कर राशि को लेकर मन बना लिया है।कोल इंडिया उच्च प्रबंधन का कहना है कि बीसीसीएल, सीसीएल, ईसीएल, एसईसीएल की आर्थिक स्थिति ठीक नहीं है। बीसीसीएल व ईसीएल ऋण लेकर भुगतान करने को लेकर विवश होगी। श्रम संगठन प्रबंधन के तमाम दावों का दरकिनार कर एक लाख से अधिक राशि बोनस देने की मांग पर प्रस्ताव देगा।