30.01.2020
AKS डेस्क
धनबाद। राष्ट्रपिता महात्मा गांधी जी की पुण्य तिथि के उपलक्ष्य में गांधी सेवा सदन में कई सालों से कार्यक्रम आयोजित किया जाता रहा है।लेकिन यह पहली बार है जब आला अधिकारी या कोई जनप्रतिनिधि इस कार्यक्रम में नदारत दिखे। हर बार राष्ट्रपिता महात्मा गांधी जी की प्रतिमा पर माल्यापर्ण तथा प्रार्थना सभा और भजन किया जाता था।लेकिन इस बार कुर्सियां खाली दिखी।पंडाल तो बना लेकिन पंडाल सुना पड़ा रहा। प्रो एन के अम्बष्टा ने कहा कि यह दुर्भाग्य है कि कोई भी आला अधिकारी या कोई भी जनप्रतिनिधि नही पहुचे। करीब 12 बजे पहुंचे धनबाद विधायक ने चिंता व्यक्त करते हुए कहा कि यह दुःखद है।यंहा हर वर्ष सभा व भजन हुआ करता था पर इस वर्ष कुछ नही होना दुखद है।वंही 12:30 बजे धनबाद उपायुक्त भी पहुंचे । पर नही सभा का आयोजन हुआ और ना ही कोई अधिकारी ही पहुंचे।राष्ट्रपिता महात्मा गांधी के पुण्य तिथि पर गांधी सेवा सदन स्थित प्रतिमा पर माल्यार्पण किया गया।वही वरिष्ठ पत्रकार वनखंड़ी मिश्रा तथा मेयर चंद्रशेखर अग्रवाल ने माल्यर्पण कर श्रद्धांजलि अर्पित किया।वही वरिष्ठ पत्रकार वनखण्डी मिश्रा ने कहा कि राष्ट्रपिता महात्मा गांधी के आदर्शों पर चलने की बात कही।वही मेयर चंद्रशेखर अग्रवाल ने कहा कि प्रधानमंत्री ने गांधी जी को स्वक्षता से जोड़ा है,इसको एक आंदोलन के रुप में परिणित कर के पूरे देश मे स्वक्षता का आंदोलन छेड़ा है। उन्होंने कहा कि जिस तरह से अंग्रेजो को भारत से भगाने के लिए गांधी जी कृत संकल्पित थे,आज गांधी जी को स्वरूप मानते हुए,स्वक्षता को संकल्पित करते हुए,स्वक्षता की श्रेणी में हमारा देश काफी आगे होगा।बता दे कि मोहनदास करमचंद गांधी की हत्या 30 जनवरी 1948 की शाम को नई दिल्ली स्थित बिड़ला भवन में गोली मारकर की गयी थी। वे रोज शाम को प्रार्थना किया करते थे। 30 जनवरी 1948 की शाम को जब वे संध्याकालीन प्रार्थना के लिए जा रहे थे तभी नाथूराम गोडसे ने पहले उनके पैर छुए और फिर सामने से उन पर बैरेटा पिस्तौल से तीन गोलियाँ चला दीं।